UGC-NET परीक्षा 2024 रद्द: नेशनल टेस्टिंग एजेंसी (एनटीए) द्वारा आयोजित यूजीसी नेट परीक्षा में गड़बड़ी मिलने के बाद इसे रद्द कर दिया गया है। परीक्षा 18 जून 2024 को देशभर के 317 शहरों के 1205 केंद्रों पर आयोजित की गई थी। इस परीक्षा में 11.21 लाख रजिस्टर्ड उम्मीदवारों में से 81 प्रतिशत उपस्थित थे। एनटीए ने 83 विषयों में UGC-NET का आयोजन किया था।
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जांच की जिम्मेदारी सीबीआई को मिली।
शिक्षा मंत्रालय ने इस मामले की जांच सेंट्रल ब्यूरो ऑफ़ इन्वेस्टीगेशन(सीबीआई) को सौंप दी है। प्रारंभिक जांच में परीक्षा की पारदर्शिता से समझौता होने की पुष्टि होने के बाद यह कदम उठाया गया है। मंत्रालय ने कहा है कि UGC-NET की परीक्षा फिरसे नए सिरे से ली जाएगी। गृह मंत्रालय के अंतर्गत आने वाले भारतीय साइबर क्राइम कोऑर्डिनशन सेन्टर (I4C) से मिली जानकारी के आधार पर यह निर्णय लिया गया है।
UGC-NET की परीक्षा पर शिक्षा मंत्रालय का ऐलान
शिक्षा मंत्रालय ने बुधवार को ऐलान किया कि परीक्षा की शुचिता से समझौता करने के मामले की निष्पक्ष जांच की जाएगी। इस जांच का जिम्मा सीबीआई को सौंपा गया है। मंत्रालय ने यह भी स्पष्ट किया कि परीक्षा की प्रक्रिया की पारदर्शिता और पवित्रता सुनिश्चित करने के लिए यह निर्णय लिया गया है। यह फैसला मेडिकल प्रवेश परीक्षा नीट में कथित अनियमितताओं के विवाद के बीच आया है।
UGC-NET के पेपर लीक होने की आशंका
मामले की शुरुआती जांच में पेपर लीक होने की आशंका जताई गई है। गृह मंत्रालय के भारतीय साइबर क्राइम कोऑर्डिनशन सेन्टर (I4C) से मिली जानकारी के आधार पर यह संदेह उत्पन्न हुआ है। इस जानकारी के आधार पर परीक्षा को रद्द करने का फैसला लिया गया है। एनटीए ने इस बार UGC-NETपरीक्षा को कंप्यूटर आधारित टेस्ट (सीबीटी) मोड के बजाय पेन और पेपर मोड (ओएमआर शीट) पर आयोजित किया था। छह साल बाद फिर से यूजीसी नेट का आयोजन ऑफलाइन मोड में किया गया था।
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एनटीए पर फिरसे उठे सवाल
UGC-NET परीक्षा रद्द होने से पहले ही एनटीए मेडिकल प्रवेश परीक्षा नीट में कथित अनियमितताओं के विवाद से जूझ रही थी। अब यूजीसी नेट परीक्षा में गड़बड़ी के कारण एनटीए की मुश्किलें और बढ़ गई हैं। एनटीए द्वारा परीक्षाओं का आयोजन आउटसोर्सिंग के जरिये किया जाता है, जो इसके संचालन की गुणवत्ता पर सवाल उठाता है। सूत्रों के मुताबिक, एनटीए के पास इन परीक्षाओं को कराने का अपना खुद का कोई अमला या विशेषज्ञ नहीं है, बल्कि वह लाखों छात्रों की यह परीक्षाएं आउटसोर्सिंग के जरिये कराती है।
इस मामले पर विपक्ष का हमला
कांग्रेस ने UGC-NET परीक्षा रद्द होने पर मोदी सरकार पर हमला बोला है। उन्होंने सरकार को ‘पेपर लीक सरकार’ कहा और आरोप लगाया कि यह युवाओं के भविष्य के साथ खिलवाड़ कर रही है। कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी ने कहा कि भाजपा सरकार का लीकतंत्र युवाओं के लिए घातक है। आम आदमी पार्टी ने भी बीजेपी सरकार पर निशाना साधते हुए कहा कि इस सरकार में एक भी परीक्षा बिना धांधली और पेपर लीक के संपन्न नहीं हो रही है।
आगे क्या कार्रवाई होगी?
सरकार ने यह सुनिश्चित करने का वादा किया है कि परीक्षाओं की शुचिता बनाए रखी जाएगी और छात्रों के हितों की रक्षा की जाएगी। मामले में शामिल पाए जाने वाले किसी भी व्यक्ति या संगठन के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी। नई परीक्षा की तारीख की जानकारी अलग से साझा की जाएगी। शिक्षा मंत्रालय ने स्पष्ट किया है कि UGC-NET के नए सिरे से आयोजन की जानकारी जल्द ही सार्वजनिक की जाएगी, ताकि छात्र अपने भविष्य की योजनाओं को सुरक्षित रख सकें। एनटीए को अपनी व्यवस्थाओं में सुधार करने के लिए निर्देश दिए गए हैं, ताकि भविष्य में ऐसी कोई घटना न हो।
reference: livehindustan